LAC विवाद- चीन का हॉट स्प्रिंग्स और गोगरा से पीछे हटने से इंकार, कही ऐसी बात!

पैंगोंग सो से चीनी सेना ने फरवरी में ही लौटने का ऐलान कर दिया था, तबसे तनाव वाले फिंगर-4 इलाके से लेकर फिंगर 8 तक के इलाके में दोनों ही सेनाओं की गश्त बंद है।

New Delhi, Apr 18 : भारत तथा चीन के बीच लद्दाख स्थित एलएसी पर तनाव अभी भी बरकरार है, कुछ दिनों पहले ही पैंगोंग सो छोड़ने के बाद एलएसी पर टकराव वाली तथा जगहों को भी चरणबद्ध तरीके से छोड़ने का वादा करने वाला चीन अब हॉट स्प्रिंग्स और गोगरा के इलाके से पीछे हटने से मुकर गया है, आपको बता दें कि करीब 15 दिन बाद ही भारत-चीन के बीच लद्दाख पर शुरु हुए तनाव को एक साल पूरे हो जाएंगे, हालांकि चीन ने अब तक विवाद सुलझाने ने कोई खास दिलचस्पी नहीं दिखाई है।

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कमांडर स्तर की मीटिंग
द संडे एक्सप्रेस के मुताबिक 9 अप्रैल को भारत-चीन के बीच हुई कोर कमांडर स्तर की बैठक की जानकारी मिली है, उसके मुताबिक चीनी सेना ने हॉट स्प्रिंग्स, गोगरा के अलावा डेपसांग प्लेन्स से भी पीछे हटने से इंकार कर दिया है, India china चीन के साथ विवाद सुलझाने में शामिल रहे एक उच्च सूत्र ने बताया कि चीन ने पहले हॉट स्प्रिंग्स और गोगरा के पेट्रोलिंग प्वाइंट 15 और पेट्रोलिंग प्वाइंट 17ए से सेना पीछे हटाने पर सहमति जताई थी, लेकिन बाद में उसने इससे साफ इंकार कर दिया, हाल में दोनों सेनाओं के बीच जो बात हुई है, उसमें चीन ने कहा कि भारत को जो कुछ हासिल हुआ है, उसे उससे ही खुश होना चाहिये।

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प्लाटून तैनात
बताया गया है कि पीपी-15 और पीपी 17ए पर चीनी सेना की प्लाटून तैनात है, ये पहले की कंपनी की तैनाती से कुछ कम संख्या है, भारतीय सेना की एक प्लाटून में 30-32 जवान होते हैं, जबकि कंपनी में 100 से 120 सैनिक होते हैं, सूत्रों का कहना है कि इन जगहों पर आवाजाही के लिये सड़कों की जरुरत नहीं पड़ती, यहां पत्थर के रास्तों पर भी चला जा सकता है और यहां पलटवार की क्षमता भी काफी तेज है, सूत्र ने ये भी कहा कि चीनी सेना भारतीय सीमा के अंदर है।

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लौटने का ऐलान
पैंगोंग सो से चीनी सेना ने फरवरी में ही लौटने का ऐलान कर दिया था, तबसे तनाव वाले फिंगर-4 इलाके से लेकर फिंगर 8 तक के इलाके में दोनों ही सेनाओं की गश्त बंद है, बताया गया है कि भारत फिंगर 8 तक पहुंचने में कभी सफल ही नहीं हो पाया, जिसे वो तनाव से 2-3 साल पहले तक असल एलएसी मानता रहा है। इसके अलावा डेपसांग प्लेन्स पर स्थिति दोनों देशों के बीच तनाव से पहले ही बिगड़ी हुई है, यहां भारतीय सेना 2013 के बाद से ही पारंपरिक गश्त सीमा तक नहीं पहुंच पाई है, डेपसांग का मुद्दा हाल ही में सैन्य कमांडरों की बातचीत में जोड़ा गया है, सूत्र का कहना है कि लद्दाख में चीन से तनाव के दौरान डेपसांग में कुछ भी नहीं हुआ है, यहां बीते काफी समय से चीनी सेना गश्त वाले इलाकों में आकर सेना को रोक देती है।