कौन है ओडिशा हादसे का जिम्मेदार, कैसे हुई इतनी बड़ी घटना?

इस तरह की हादसे की वजह मानवीय तथा तकनीकी भी हो सकती है, ओडिशा ट्रेन हादसे के पीछे तकनीकी खराबी एक वजह माना जा रहा है।

New Delhi, Jun 03 : ओडिशा के बालासोर में शुक्रवार को 3 ट्रेनों के एक भीषण ट्रेन दुर्घटना में कम से कम 233 लोगों की मौत हुई है, जबकि 900 से ज्यादा घायल हैं, मौके पर राहत तथा बचाव कार्य जारी है, रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने दुर्घटना के कारणों का पता लगाने के लिये उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिये हैं। आपको बता दें कि तीनों ट्रेनों की दुर्घटना शुक्रवार शाम कोलकाता से 250 किमी दक्षिण तथा भुवनेश्वर से 170 किमी उत्तर में बालासोर जिले के बहनागा बाजार स्टेशन के पास हुई।

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3 ट्रेनें कैसे पटरी से उतरी
रेलवे अधिकारियों के अनुसार बंगलुरु-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस हावड़ा जा रही थी, तभी कई डिब्बे पटरी से उतरकर बदल की पटरियों पर गिर पड़ी। coromandal
शालीमार-चेन्नई सेंट्रल कोरोमंडल एक्सप्रेस चेन्नई जाते हुए बंगलुरु-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस के पटरी से उतरे डिब्बों से टकरा गई।
इसके बाद कोरोमंडल एक्सप्रेस के पटरी से उतरे डिब्बे एक मालगाड़ी के डिब्बों से टकरा गये।

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क्या हो सकती है हादसे की वजह
इस तरह की हादसे की वजह मानवीय तथा तकनीकी भी हो सकती है, ओडिशा ट्रेन हादसे के पीछे तकनीकी खराबी एक वजह माना जा रहा है, मीडिया रिपोर्ट के अनुसार सिग्नल की खराबी की वजह से दो ट्रेनें एक ही ट्रैक पर आ गई।

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तकनीकी खामी
दरअसल ट्रेन ड्राइवर को लगातार कंट्रोल रुम से निर्देश मिलते हैं, जिसके आधार पर वो गाड़ी को चलाता है, रेलवे कंट्रोल रुम में एक बड़ी स्क्रीन लगी होती है, स्क्रीन पर हरे तथा लाल रंग के माध्यम से ये दिखा रहा होता है कि पटरी पर ट्रेन है और किस पर नहीं है। अगर पटरी पर ट्रेन चल रही है, तो लाल रंग दिखता है, और अगर ट्रैक खाली है, तो हरी लाइट दिखती है, इस स्क्रीन को देखकर ट्रेन ड्राइवर को निर्देश दिये जाते हैं, ओडिशा हादसे को लेकर अनुमान जताया जा रहा है कि स्क्रीन पर ट्रेन का सही सिग्नल नहीं दिखाई दिया, जिसकी वजह से ये हादसा हुआ।