मुंबई में पिटाई पॉलिटिक्स, राज ठाकरे के गुंडों की पिटाई निरुपम के भड़काने पर ?

मुंबई के मलाड में राज ठाकरे के गुंडें फेरीवालों की पिटाई करने के लिए पहुंचे, लेकिन इस बार नजारा कुछ अलग था, उस से राज हैरान हैं

New Delhi, Oct 30: महाराष्ट्र की राजनीति का केंद्र हमेशा से मुंबई रहा है। मुंबई मं जिस पार्टी का दबदबा रहता है वो पूरे राज्य पर हावी रहती है। यही कारण है कि अपनी राजनीति चमकाने के लिए अक्सर नेता मुंबई को चुनते हैं। जैसा कि राज ठाकरे करते हैं, वो मुंबई में उत्तर भारतीयों की पिटाई करते हैं, इस से उनको चर्चा मिलती है। इसका इस्तेमाल वो खुद की राजनीति को उभारने में करते हैं। उत्तर भारतीयों के प्रति नफरत राज की राजनीति का आधार रहा है। मुंबई की सड़कों पर नॉर्थ इंडियन रेहड़ी वालों, यूपी और बिहार के लोगों की पिटाई महाराष्ट्र नव निर्माण सेना के गुंडे करते रहे हैं। लेकिन अब उनको जवाब मिलने लगा है।

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मुंबई के मलाड में राज ठाकरे के गुंडों ने कुछ फेरीवालों की पिटाई करने का कार्यक्रम बनाया था। वो पिटाई करने के लिए पहुंचे, लेकिन इस बार नजारा कुछ अलग था, राज के गुंडों की पिटाई, गालियां सुनने के आदी रहे उत्तर भारतीयों के अंदर से डर खत्म हो चुका है। वो पलटवार कर रहे हैं। मलाड मं राज के गुंडों की इन फेरीवालों से जमकर पिटाई कर दी। इसके बाद राज भड़क गए, उनकी पार्टी भड़क गई, गुंडागर्दी का लाइसेंस तो हमारे पास है, हमारे अलावा और कौन इस तरह से सड़कों पर कानून को अपने हाथ में ले सकता है। आज तक कभी ये नहीं सुना गया कि उत्तर भारतीयों की पिटाई के मामले में मनसे के कितने लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई

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अब जब फेरीवालों ने मनसे के गुंडों की पिटाई कर दी तो उनके खिलाफ कानून सक्रिय हो गया है, 7 फेरीवालों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। एक एफआईआर कांग्रेस नेता संजय निरुपम के खिलाफ भी दर्ज की गई है। संजय का नाम इस घटना में आने के बाद सवाल खड़े हो रहे हैं कि क्या पिटाई पॉलिटिक्स के पीछे संजय का हाथ है। ये सवाल इसलिए खड़ा हो रहा है क्योंकि कुछ दिनों पहले ही संजय ने उत्तर भारतीयों खास तौर पर फेरीवालों से कहा था वो डरने के बजाय मुकाबला करें। अगर कोई उनके खिलाफ हिंसा कर रहा है तो वो भी उसे जवाब दे सकते हैं। संजय पर फेरीवालों को भड़काने का आरोप है। यानि जिन फेरीवालों ने राज के गुंडों की पिटाई की थी वो राजनीति से प्रेरित थे।

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इतना ही नहीं फेरीवालों पर हत्या की कोशिश का भी केस दर्ज किया गया है। ये घटना कई सवाल खड़े करती है। मुंबई की सड़कों पर राज ठाकरे के गुंडे खुलेआम कानून को अपने हाथ मं लेते हैं। वो गरीब उत्तर भारतीयों पर हमला करते हैं। उनकी आजीविका के साधनों को तबाह कर देते हैं। यहां तक कि वो पिटाई का लाइव वीडियो भी बनाते हैं, लेकिन ये सब होने के बाद भी मुंबई पुलिस कुछ नहीं करती है, लेकिन अब जब फेरीवालों ने ईंट का जवाब पत्थर से दिया है तो पुलिस ने उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली है, सवाल कई हैं, उनके जवाब भी लोगों को पता है, लेकिन राजनीति सब पर हावी है। संजय निरुपम उत्तर भारतीयों के कंधे पर बंदूक रख कर चला रहे हैं, वहीं राज को इस बात का गुस्सा है कि उनके गुंडों की पिटाई कैसे कर दी गई।