चले थे कविराज को ट्रोल करने, झन्नाटेदार जवाब से कुमार विश्वास ने काटजू की कर दी बोलती बंद

पूर्व जज ने ट्विटर पर कुछ लोगों को टैग कर लिखा है कि आधुनिक हिन्दी कविता में उर्दू जैसा दम नहीं है।

New Delhi, Apr 24 : अपने बेबाक और विवादित बयानों की वजह से अकसर सुर्खियों में रहने वाले सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जस्टिस मार्कंडेय काटजू एक बार फिर से चर्चा में हैं, दरअसल इस बार उन्होने एक ऐसा ट्वीट किया है, जिसकी खूब चर्चा हो रही है, पूर्व जज ने ट्विटर पर कुछ लोगों को टैग कर लिखा है कि आधुनिक हिन्दी कविता में उर्दू जैसा दम नहीं है, इसके साथ ही उन्होने ये भी पूछा है कि उर्दू विदेशी भाषा है या भारतीय।

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काटजू का ट्वीट
मार्कंडेय काटजू अपने ट्वीट में इतने में ही नहीं रुके, उन्होने एक और लाइन में लिखी है, सरफरोशी की तमन्ना अब हमारे दिल में है, फिर इसके बाद इसी लाइन को उन्होने हिंदी में लिखा है, शीश कटवाने की इच्छा अब हमारे ह्दय में उपस्थित है, इसके बाद पूर्व जज ने लिखा कि ये क्या आवाज है, क्या इसमें कोई दम है।

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एक और उदाहरण
इसके बाद जस्टिस काटजू ने एक और उदाहरण देते हुए उसी ट्वीट में लिखा, बोल के लब आजाद हैं तेरे, बोल जुबान अब तक तेरी है, फिर इसी लाइन को उन्होने हिन्दी में भी लिखा, उन्होने लिखा कि कहो कि हमारे होंठ स्वतंत्र हैं, कहो कि तुम्हारी जीभ अभी तक तुम्हारी है।

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कुमार विश्वास का जवाब
चर्चित कवि और राजनेता डॉ. कुमार विश्वास कभी इन बातों पर ज्यादा गौर नहीं करते, लेकिन कुमार के मुताबिक काटजू ने ट्विटर पर उन्हें कई बार टैग किया, इसी से नाराज होकर कुमार विश्वास ने ट्वीट कर उन्हें जवाब दिया है, कुमार का ट्वीट सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है।

कुमार विश्वास का ट्वीट
कविराज ने लिखा, हिन्दी कविता की शक्तिमत्ता से आपके अपरिचित रह जाने के पीछे मेरा कोई योगदान नहीं है, ये आपके निजी अज्ञान, आत्ममुग्धता और अशिक्षा का कारण है, कृपया बार-बार मुझे टैग करके अपनी अहमन्या-कुंठा की निरर्थक उलूकग ध्वनि ना करें, ईश्वर आपको यथाशीघ्र स्वस्थ्य करें, और आपका न्याय करे, साथ ही कुमार ने आखिर में हंसते हुए एक इमोजी के साथ हाथ जोड़ने वाले इमोजी का भी इस्तेमाल किया है।