नहीं रहे देश के दिग्गज वकील राम जेठमलानी, इन केसों की वजह से आये थे चर्चा में

राम जेठमलानी अपने मुकदमों के अलावा अपने बयानों की वजह से भी अकसर सुर्खियों में रहते थे, उन्होने 17 साल की उम्र में वकालत की डिग्री हासिल की थी।

New Delhi, Sep 08 : देश के पूर्व कानून मंत्री और चर्चित वकील रहे राम जेठमलानी का आज निधन हो गया, वो 96 साल के थे, राम जेठमलीना की  गिनती देश के कद्दावर वकीलों में की जाती थी, वो बीजेपी की ओर से राज्यसभा सांसद और वाजपेयी सरकार में मंत्री भी रह चुके हैं, हालांकि बीजेपी के खिलाफ बयानबाजी करने की वजह से उन्हें पार्टी से निष्कासित कर दिया गया था।

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बयानों की वजह से सुर्खियों में
राम जेठमलानी अपने मुकदमों के अलावा अपने बयानों की वजह से भी अकसर सुर्खियों में रहते थे, उन्होने 17 साल की उम्र में वकालत की डिग्री हासिल की थी, तब नियमों में संशोधन कर उन्हें 18 साल की उम्र में प्रैक्टिस करने की इजाजत दी गई थी, जबकि नियम के मुताबिक कोर्ट में प्रैक्टिस करने की न्यूनतम उम्र सीमा 21 साल है।

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रिटायर कब होंगे
पिछले दिनों सुप्रीम कोर्ट के जज ने उनसे पूछा था कि आप रिटायर कब होंगे, तो उन्होने हंसते हुए कहा था कि आप मुझ से पूछ रहे हैं कि आप इस दुनिया से कब विदा होंगे, आपको बता दें कि आखिरी दिनों तक राम जेठमलानी कोर्ट जाते रहे, उन्होने कई चर्चित केस लड़े।

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मुफ्त में लड़े कई मामले
आजाद भारत के इतिहास में कई मामलों में राम जेठमलानी काला कोट पहने खड़े दिखाई दिये, एक समय देश के सबसे ज्यादा टैक्स देने वाले लोगों में शामिल रहे जेठमलानी ने कई चर्चित मामलों में मुफ्त में मुकदमा लड़ा, अपने अंदाज और तीखे तेवरों के लिये जाने जाते थे।

प्रमुख केस
राम जेठमलानी ने जो केस लड़े, उनमें नानावटी बनाम महाराष्ट्र सरकार, पूर्व पीएम इंदिरा गांधी के हत्यारों सतवंत और बेअंत सिंह, हर्षद मेहता स्टॉक मार्केट घोटाला, हाजी मस्तान केस, हवाला स्कैम, मद्रास हाईकोर्ट, आतंकी अफजल गुरु, जेसिका लाल हत्याकांड, 2 जी स्कैम केस और आसाराम का मामला शामिल है। साथ ही बाबा रामदेव, राजीव गांधी के हत्यारों, लालू यादव, जयललिता और जगन मोहन रेड्डी की पैरवी भी कर चुके हैं।