कोरोना काल में जिस Good News का था सबको इंतजार वो आ गई, भारत समेत दुनिया को राहत

कोरोना वायरस से जंग में दुनिया हर दिन कुछ नया सीख रही है, बढ़ते मामलों के बीच जिंदगी कैसे जीनी है इसकी कोशिश कर रही है । लेकिन ये गुड न्‍यूज अब सब कुछ बदल सकती है ।

New Delhi, May 16 : कोरोना वायरस संक्रमण को लेकर विश्‍व स्‍वास्‍थ्‍य संगठन की रिपोर्ट बेहद परेशान करने वाली रही । डब्‍लूएचओ ने साफ कह दिया है कि हो सकता है कोरोना अब कभी खत्‍म ही ना हो और लोगों को इसके साथ रहना सीखना पड़ेगा । कोरोना से डर तब तक है जब तक इसका इलाज उपलब्‍ध नहीं है, लेकिन एक बार इलाज मिल गया तो बीमारी से डर कैसा । जी हां, और एक ऐसी ही गुड न्‍यूज अमेरिका से आई है । खबर में दावा है कि अमेरिका की एक कंपनी ने कोरोना वायरस का इलाज ढूढ निकाला है ।

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कैलिफोर्निया की कंपनी का दावा
अमेरिका के कैलिफोर्निया की एक बायोटक कंपनी ने दावा किया है कि उसने कोरोना वायरस का ‘इलाज’ ढूंढ लिया है । फॉक्स न्यूज     की इस खबर के मुताबिक कैलिफोर्निया की बायोटेक कंपनी सॉरेनटो थेरेपेटिक्‍स (Sorrento Therapeutics)  ने कहा है कि उन्होंने STI-1499 नाम की एंटीबॉडी तैयार कर ली है, ये एंटीबॉडी कोरोना को 100 फीसदी हराने में कारगर है । कंपनी ने पेट्री डिश एक्‍सपेरिमेंट में सफलता पाई है और कहा है कि STI-1499 एंटीबॉडी कोरोना वायरस को इंसानों के सेल्स में संक्रमण फैलाने से 100 फीसदी रोक देता है ।

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दवा का कॉकटेल है
सॉरेन्टो कंपनी ने न्यूयॉर्क के माउंट सिनई स्कूल ऑफ मेडिसीन के साथ मिलकर कोरोनावायरस के खिलाफ काम करने वाली इस दवा पर काम किया, ये दोनों कई एंटीबॉडी तैयार करने पर काम कर रही है । कंपनियों की योजना है कि कई एंटीबॉडी को मिलाकर ‘दवा का कॉकटेल’ तैयार किया जाए । डेली मेल की रिपोर्ट के अनुसार सॉरेन्‍टो कंपनी ने एक प्रेस रिलीज जारी की है, जिसमें कहा है कि वो एक महीने में एंटीबॉडी के 2 लाख डोज तैयार कर सकती है ।

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मांगी है मंजूरी
कंपनी ने STI-1499 एंटीबॉडी के इस्तेमाल की मंजूरी के लिए अमेरिका के फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन (FDA) को एप्‍लीकेशन भेजा है, जिसमें इमरजेंसी आधार पर मंजूरी की मांग की है । खबर के बाजार में आते ही कंपनी के स्टॉक के दाम में 220 फीसदी का उछाल देखने को मिला है । सॉरेन्टो के सीईओ डॉ. हेनरी जी का दावा है कि ये एंटीबॉडी 100 फीसदी कारगर है । उन्‍होने कहा कि अगर आपके शरीर में वायरस को न्यूट्रलाइज करने के लिए एंटीबॉडी मौजूद रहते हैं तो आपको सोशल डिस्टेंसिंग की जरूरत नहीं होगी । बिना डर के लॉकडाउन खोले जा सकते हैं ।

ह्यूमन बॉडी पर टेस्‍ट नहीं हुआ है
हालांकि इस गुड न्‍यूज का एक पेंच ये हैं कि इस एंटीबॉडी को बना तो लिया गया है लेकिन इसका ट्रायल इंसानों पर नहीं हुआ है । इस एंटीबॉडी का टेस्ट लैब में इंसानी सेल्स पर किया गया है । सीधे तौर पर इंसानों में इसका परीक्षण नहीं हुआ है । जिसकी वजह से एंटीबॉडी के साइड इफेक्ट के बारे में कुछ नहीं कहा जा सकता । इंसानी शरीर में जाकर ये एंटीबॉडी कैसा असर करेगी, इसके बारे में कोई डीटेल सामने नहीं आई है । आपको बता दें भारत समेत दुनिया में कोराना मरीजों को ठीक करने के लिए प्‍लाज्‍मा थेरेपी का इस्‍तेमाल किया जा रहा है, ये काफी हद तक सफल भी मानी जा रही है । प्‍लाज्‍मा थेरेपी में कोरोना से ठीक हुए मरीज के एंटीबॉडी को बीमार हुए मरीज के शरीर में डाला जाता है । जो दवा से कहीं जल्‍दी बीमारी पर असर करता है ।