RBI ने कैंसिल किया इस बैंक का लाइसेंस, खाताधारकों को मिलेंगे 5 लाख रुपये, जानिये नियम

आरबीआई ने कहा कि इस बैंक के प्रबंधन की कार्यप्रणाली को देखते हुए कहा जा सकता है कि डिपॉजिटर्स के वर्तमान तथा भविष्य पर इसका प्रतिकूल असर पड़ेगा।

New Delhi, Dec 25 : आरबीआई ने गुरुवार को जानकारी दी है कि कोल्हापुर के सुभद्रा एरिया बैंक का लाइसेंस रद्द कर दिया गया है, इस बैंक के संचालन में गड़बड़ियों को देखते हुए आरबीआई ने ये फैसला लिया है, आरबीआई ने इस बैंक का लाइसेंस बैंकिंग रेगुलेशन एक्ट 1949 के सेक्शन 22, 4 के तहत कैंसिल किया है, इस बारे में विस्तृत जानकारी देते हुए आरबीआई ने कहा कि सुभद्रा बैंक में ऐसे कई काम हो रहे थे, जो डिपॉजिटर्स के वर्तमान तथा भविष्य के लिहाज से सही नहीं थे, ऐसे में इस बैंक को जारी रखने से पब्लिक को नुकसान पहुंच सकता है।

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बैंकिंग तथा अन्य कारोबार करने पर रोक
आरबीआई ने इस महीने महाराष्ट्र के संकटग्रस्त कराड बैंक का भी लाइसेंस कैंसिल कर दिया था, अब सुभद्रा बैंक को लेकर केन्द्रीय बैंक का कहना है कि पिछले वित्त वर्ष की दो तिमाहियों में इस बैंक ने मिनिमम नेटवर्थ की शर्तों का उल्लंघन किया है, इस बैंक के पास जमाकर्ताओं को लौटाने के लिये पर्याप्त पूंजी नहीं है, अब लाइसेंस कैंसिल होने के बाद ये बैंक किसी भी तरह की बैंकिग या अन्य कारोबार नहीं कर सकता है।

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पैसे वापस करने के लिये पर्याप्त पूंजी
आरबीआई ने कहा कि इस बैंक के प्रबंधन की कार्यप्रणाली को देखते हुए कहा जा सकता है कि डिपॉजिटर्स के वर्तमान तथा भविष्य पर इसका प्रतिकूल असर पड़ेगा, लाइसेंस कैंसिल करने के बाद आरबीआई अब हाई कोर्ट में एक आवेदन भी देगा, हालांकि आरबीआई ने ये भी कहा कि वर्तमान में सुभद्रा लोकल एरिया बैंक के पास सभी डिपॉजिटर्स को भुगतान करने के लिये पर्याप्त पूंजी है।

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डिपॉजिटर्स को वापस मिलेगी 5 लाख तक की रकम
आपको बता दें कि किसी भी बैंक के बंद होने पर उस दौरान बैंक के सभी डिपॉजिटर्स को उनकी पूंजी वापस देने का प्रावधान है, rupees डिपॉजिट इंश्योरेंस एंड क्रेडिट गारंटी कॉरपोरेशन ये सुनिश्चित करता है, नियमों के मुताबिक ये लिमिट 5 लाख रुपये तक की ही है, इसका मतलब है कि बैंक बंद होने के बाद डिपॉजिटर्स को अधिकतम 5 लाख रुपये तक वापस मिल सकते हैं, आरबीआई का कहना है कि कराड बैंक के 99 फीसदी डिपॉजिटर्स को उनका पैसा वापस मिल जाएगा।