जब तारक मेहता शो की बबीता जी का छलका था दर्द, वो मुझे गलत जगह छूता था

चर्चित एक्ट्रेस मुनमुन दत्ता एक्टिंग के अलावा अपनी खूबसूरती के लिये भी जानी जाती हैं, सोशल मीडिया पर सक्रिय रहने वाली मुनमुन दत्ता ने 2017 में अपने साथ हुई यौन शोषण की घटनाओं का जिक्र किया था।

New Delhi, Oct 06 : टीवी शो तारक मेहता का उल्टा चश्मा में बबीता जी का किरदार निभाने वाली मुनमुन दत्ता ने कुछ साल पहले अपने साथ हुई कुछ खौफनाक घटनाओं को याद करते हुए इंस्टाग्राम पर पोस्ट शेयर किया था, मीटू मूवमेंट के चलते उन्होने खुद के साथ हुए यौन उत्पीड़न को समाज के सामने उजागर किया था।

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2017 में किया था जिक्र
चर्चित एक्ट्रेस मुनमुन दत्ता एक्टिंग के अलावा अपनी खूबसूरती के लिये भी जानी जाती हैं, Munmun dutta1 सोशल मीडिया पर सक्रिय रहने वाली मुनमुन दत्ता ने 2017 में अपने साथ हुई यौन शोषण की घटनाओं का जिक्र किया था, उन्होने 25 अक्टूबर को अपने इंस्टाग्राम पर दर्द बयां किया था।

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क्या कहा था
मुनमुन दत्ता ने अपने पोस्ट में लिखा था, इस तरह के पोस्ट शेयर करना तथा महिलाओं पर हुए यौन उत्पीड़न को लेकर हो रहे इस वैश्विक जागरुकता में शामिल होना और उन महिलाओं को एकजुटता दिखाना जो इस उत्पीड़न से गुजरी हों, इस समस्या की भयावहता को दिखाता है। मुनमुन ने लिखा मैं हैरान हूं कुछ अच्छे मर्द उन महिलाओं की संख्या देखकर स्तब्ध हैं, munmun-dutta जिन्होने बाहर आकर अपने मीटू अनुभवों को साझा किया है, ये आपके ही घर में, आपकी ही बहन, बेटी, मां, पत्नी या यहां तक कि आपकी नौकरानी के साथ हो रहा है, उनका भरोसा हासिल करें, उनसे पूछें, आप उनके जवाबों से हैरान होंगे, आप उनकी कहानियों से आश्चर्यचकित होंगे।

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मेरी आंखों में आंसू आ जाते हैं
मुनमुन दत्ता ने लिखा इस तरह का कुछ लिखते हुए मेरी आंखों में आंसू आ जाते हैं, जब मैं छोटी थी, तो पड़ोस के अंकल और घूरती हुई उनकी नजरों से डरती थी, जो कभी भी मौका पाकर मुझे देखती और मानो धमकाती कि ये बात अब किसी को नहीं बतानी, या मेरे बड़े कजिन जो मुझे अपनी बेटियों की तरह नहीं देखते थे, या वो आदमी जिसने मुझे अस्पताल में पैदा होते हुए देखा था, फिर 13 साल बाद उसे लगा कि अब वो मेरे शरीर के अंगों को छू सकता है, क्योंकि मेरे शरीर में बदलाव हो रहे थे। या मेरा ट्यूशन टीचर जिसने मेरे अंडरपैंट में हाथ डाला था, या वो दूसरा टीचर जिसे मैंने राखी बांधी थी, जो लड़कियों को क्लास में डांटने के लिये ब्रा की स्ट्रैप खींचता था, उनके स्तनों पर थप्पड़ लगाता था, या फिर वो ट्रेन का आदमी जो यूं ही छू लेता है, क्यों, क्योंकि आप बहुत छोटे होते हो, ये सब बताने से डरते हो। आप इतने डरे होते हो, आपको महसूस होता है कि आपके पेट में मरोड़ उठ रहा है, आपका दम घुटने लगता है, लेकिन आपको पता नहीं होता कि आप कैसे इस चीज को अपने माता-पिता के सामने बताएंगे, या फिर आपको इस बारे में किसी से भी एक भी शब्द कहने में शर्म आएगी, फिर आपके अंदर मर्दों के लिये नफरत पैदा होने लगती है, क्योंकि यही लोग दोषी होते हैं, जो आपको इस तरह से महसूस करवाने पर मजबूर करते हैं, उन्होने लिखा, इस घृणित भावना को अपने आप से दूर करने के लिये मुझे सालों लगे, इस आंदोलन में शामिल होने वाली एक और आवाज बनने के लिये खुश हूं, लोगों को एहसास दिलाता हूं, कि मुझे भी नहीं बख्शा गया था, आज मुझसे इतना साहस आ गया है कि मैं किसी भी आदमी को चीर दूंगी, जो दूर से भी मुझ पर कुछ भी करने की कोशिश करेगा, मुझे खुद पर गर्व है।