नौकरी घोटाले में एक्शन, राबड़ी आवास पर पहुंची सीबीआई टीम, लालू परिवार से पूछताछ जारी

सीबीआई ने चार्जशीट में आरोप लगाया है कि इन लोगों ने गलत टीसी का इस्तेमाल किया है, और रेल मंत्रालय को झूठे प्रमाणित दस्तावेज जमा किये हैं।

New Delhi, Mar 06 : भारतीय रेलवे में नौकरी के बदले जमीन लेने के मामले में सीबीआई एक्शन में है, सीबीआई की टीम बिहार की पूर्व सीएम राबड़ी देवी के पटना स्थित आवास पहुंची है, बताया जा रहा है कि सीबीआई के अधिकारी राबड़ी देवी समेत उनके परिवार के सदस्यों से पूछताछ कर रही है।

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सीबीआई की टीम मौजूद
बिहार की पूर्व सीएम राबड़ी देवी के पटना स्थित आवास पर सीबीआई की टीम पहुंची हैं, lalu Rabri सीबीआई के तीन अधिकारी घर के अंदर मौजूद हैं, आईआरसीटीसी घोटाला यानी जमीन के बदले रेलवे में नौकरी देने के मामले में सीबीआई राबड़ी देवी से पूछताछ के लिये पहुंची हैं, इसके बाद राबड़ी आवास के बाहर राजद कार्यकर्ता जमा होने लगे हैं।

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क्या है पूरा मामला
सीबीआई ने पिछले साल अक्टूबर में एक आरोपपत्र दाखिल किया था, जिसमें लालू यादव उनकी पत्नी राबड़ी देवी, बेटी, मध्य रेलवे के तत्कालीन जीएम, तत्कालीन मुख्य कार्मिक अधिकारी, निजी व्यक्तियों तथा कुछ अन्य लोगों समेत 16 आरोपियों को नामजद किया था, सीबीआई ने आरोपपत्र में कहा था कि जांच के दौरान पाया गया कि जमीन के बदले में अपने या अपने करीबी रिश्तेदारों के नाम लोगों को नियुक्त किया गया था, सीबीआई ने कहा कि इस मामले में आरोपियों ने मध्य रेलवे के तत्कालीन महाप्रबंधक और केन्द्रीय रेलवे के सीपीओ के साथ मिलकर साजिश रची थी, ये जमीन सर्किल रेट से कम तथा बाजार दर से काफी कम कीमत पर अधिग्रहित की गई थी।

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गलत टीसी का इस्तेमाल
सीबीआई ने चार्जशीट में आरोप लगाया है कि इन लोगों ने गलत टीसी का इस्तेमाल किया है, और रेल मंत्रालय को झूठे प्रमाणित दस्तावेज जमा किये हैं, सीबीआई को जांच के दौरान पता चला कि लालू की पत्नी राबड़ी देवी, बेटी हेमा यादव को नौकरी चाहने वालों द्वारा नौकरी घोटाले के लिये भूमि के संबंध में जमीन गिफ्ट में दी गई है, जिन्हें बाद में रेलवे में भर्ती की गई थी। मालूम हो कि रेलवे कर्मचारी हरिदयानंद चौधरी तथा लालू के तत्कालीन ओएसडी भोला यादव को इस मामले में पहले ही गिरफ्तार किया गया है, भोला यादव 2004 से 2009 के बीच लालू के ओएसडी थे, अधिकारी ने कहा कि 2004 से 2009 के बीच लालू ने उम्मीदवारों से रेलवे के विभिन्न जोन में ग्रुप डी की नौकरी के बदले परिवार के सदस्यों के नाम पर जमीन ली थी, आर्थिक लाभ प्राप्त किया था।