गूगल की नौकरी छोड़ शुरु की आईएएस की तैयारी, बिना कोचिंग हासिल किया था देशभर में पहला स्थान

अनुदीप दुरीशेट्टी ने 2017 यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा में टॉप किया था, उन्होने पहला रैंक हासिल किया था, दुरीशेट्टी पहली बार साल 2012 में इस परीक्षा में शामिल हुए, हालांकि असफल रहे।

New Delhi, Mar 20 : यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा को देश का सबसे कठिन परीक्षाओं में से एक माना जाता है, यही वजह है कि हर उम्मीदवार को इस परीक्षा को पास करने के लिये जीतोड़ मेहनत करनी पड़ती है, हर साल लाखों अभ्यर्थी यूपीएससी की परीक्षा में शामिल होते हैं, लेकिन उनमें से कुछ ही को सफलता मिलती है। ऐसे कई उम्मीदवार हैं, जो इस परीक्षा में सफल होने के लिये बार-बार कोशिश करते हैं, उनमें से ही एक हैं तेलंगाना निवासी अनुदीप दुरीशेट्टी, जो आईएएस बनने के लिये 3 बार इस परीक्षा में असफल हुए, हालांकि उन्होने अपने सपने को साकार कर लिया।

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2017 के टॉपर
अनुदीप दुरीशेट्टी ने 2017 यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा में टॉप किया था, उन्होने पहला रैंक हासिल किया था, दुरीशेट्टी पहली बार साल 2012 में इस परीक्षा में शामिल हुए, हालांकि असफल रहे, फिर 2013 में दोबारा कोशिश की, इस बार उनका चयन तो हो गया, लेकिन आईएएस नहीं बल्कि आईआरएस के लिये चुने गये।

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आईएएस बनना चाहते थे
हालांकि अनुदीप दुरीशेट्टी शुरु से ही आईएएस बनना चाहते थे, इसलिये वो आईआरएस बनने के बाद बी यूपीएससी की परीक्षा देते रहे, 2014 और 2015 में फिर से परीक्षा में शामिल हुअ, लेकिन सफल नहीं हो पाये, हालांकि अनुदीप ने हार नहीं मानी, एक बार फिर से 2017 में कोशिश की, इस बार उन्होने पूरे देश में पहला रैंक हासिल किया।

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बिना कोचिंग तैयारी
अनुदीप ने इस परीक्षा की तैयारी के लिये किसी कोचिंग सेंटर की मदद नहीं ली, बल्कि परीक्षा की तैयारी के दौरान गाइडेंस के लिये इंटरनेट की मदद ली थी, इसके अलावा सेल्फ स्टडी करते रहे, दुरीशेट्टी तब हैदराबाद में एक असिस्टेंट कमिश्नर के रुप में काम कर रहे थे। दुरीशेट्टी तेलंगाना के जगत्याल के मेटपल्ली शहर के रहने वाले हैं, उन्होने अपनी स्कूली शिक्षा श्री सूर्योदय हाई स्कूल और श्री चैतन्य जूनियर कॉलेज से पूरी की है, इसके अलावा अनुदीप दुरीशेट्टी ने 2011 में बिट्स पिलानी राजस्थान से इलेक्ट्रॉनिक्स और इस्ट्रुमेंटेशन में बीटेक किया है, बीटेक की डिग्री लेने के बाद उन्हें गूगल जैसी कंपनी में नौकरी मिल गई थी, लेकिन फिर उनके मन में यूपीएससी करने का ख्याल आया, और वो नौकरी छोड़कर तैयारी करने लगे।