कैसे बनेगी टाइगर सीरीज की तीसरी फिल्‍म, इस महत्‍वपूर्ण कलाकर का निधन, सलमान को सदमा

सलमान खान के चहेते एक्‍टर, जिनका सम्‍मान शाहरुख भी खूब करते थे, वो अब नहीं रहे । इस मशहूर एक्‍टर को फिल्‍म इंडस्‍ट्री कई बरसों तक याद रखेगी ।

New Delhi, Jun 10 : लेखक कहें या नाटककार, अभिनेता, फिल्म निर्देशक, बहुमुखी प्रतिभा के धन गिरीश कर्नाड का सोमवार सुबह निधन हो गया । वह 81 वर्ष के थे और कुछ समय से बेहद बीमार चल रहे थे । 1998 में उन्‍हें ज्ञानपीठ पुरस्कार से नवाजा गया था, पद्मश्री और पद्मभूषण जैसे सम्मान प्राप्‍त कर चुके कर्नाड के निधन से पूरी इडस्‍ट्री और साथी कलाकार निशब्‍द हैं । उनका निधन एक बड़ी और अपूर्णनीय क्षति है, जो शायद ही कोई अन्‍य कलाकार पूरी कर पाए ।

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बेंगलुरु में ली आखिरी सांस
गिरीश कर्नाड 81 वर्ष के थे, उनका जन्‍मदिन पिछले महीने ही परिवार ने मनाया था । उन्होंनेबेंगलुरु में आखिरी सांस ली । गिरीश कर्नाड एक चहेते कलाकार रहे हैं, उनके फैंस उनके अंतिम दर्शन जरूर करना चाहते लेकिन कर्नाड के परिवार ने उन्हें किसी तरह का स्टेट फ्यूनरल न देने की गुजारिश की है ।  कर्नाड का हिंदी फिल्‍मों में ही नहीं बल्कि साउथ की फिल्‍मों में भी अहम योगदान रहा । उनके निधन पर साउथ इंडस्‍ट्री भी शोक मना रही है ।

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टाइगर सीरीज का अहम हिस्‍सा
सलमान खान की फिल्‍म एक था टाइगर और टाइगर जिंदा है में रॉ चीफ की भूमिका निभाने वाले गिरीश कर्नाड के बाद अब तीसरी फिल्‍म में उनका ना होना बेहद खलेगा । सलमान खान के लिए कर्नाड एक कलाकार ही नहीं बल्कि पिता समान थे । फिल्‍म में दोनों की बॉन्डिंग करिश्‍माई थी । जाहिर है अब अगर ये फिल्‍म तीसरी बार बनती है तो इसमें उस किरदार को सभी मिस करेंगे जिसे कर्नाड निभाया करते थे ।

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एक से बढ़कर एक शाहकार
गिरीश कर्नाड ने अपना पहला नाटक ‘ययाति’ कन्नड़ में लिखा था, जिसके बाद उसका अंग्रेजी में अनुवाद हुआ । कर्नाड के चर्चित नाटकों में ‘ययाति’, ‘तुगलक’, ‘हयवदना’, ‘अंजु मल्लिगे’, ‘अग्निमतु माले’, ‘नगा मंडला’ और ‘अग्नि और बरखा’ शामिल हैं । कर्नाड अपने नाटकों के कारण अंतर्राष्‍ट्रीय स्‍तर पर भी जाने गए । गिरीश कर्नाड का जन्म 1938 में माथेरन में हुआ था, जो अब महाराष्ट्र का हिस्‍सा है। उनकी शुरुआती पढ़ाई मराठी भाषा में हुई। पढ़ाई के दौरान ही उनका झुकाव थिएटर की तरफ हो गया । कन्नड़ फिल्म ‘संस्कार’ के लिए उन्‍हें सर्वश्रेष्ठ निर्देशक का राष्ट्रीय पुरस्कार भी मिला था। कर्नाड को  4 फिल्मफेयर अवॉर्ड भी मिले हैं । उनका निधन एक युग का अंत है ।

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