Bihar Election- नीतीश ट्रंप कार्ड से पलटेंगे पासा, लालू को करारा जवाब देने की तैयारी!
कभी बिहार केसरी कहे जाने वाले रामलखन सिंह यादव को बिहार का सबसे बड़ा यादव नेता माना जाता था, ना सिर्फ राजनीति में बल्कि शिक्षा के क्षेत्र में भी रामलखन यादव ने काफी काम किये थे।
New Delhi, Sep 09 : बिहार में विधानसभा चुनाव को लेकर राजनीतिक पारा चढने लगा है, तमाम राजनीतिक पार्टियां अपने-अपने समीकरण मजूबत करने की कवायद में जुट गये हैं, विधानसभा चुनाव में विरोधियों को खासकर राजद के एमवाई समीकरण को तोड़ने के लिये सुशासन बाबू ने ट्रंप कार्ड तैयार कर लिया है, माना जा रहा है कि ट्रंप कार्ड भी ऐसा है, जिसका जवाब देने के लिये राजद को परेशानी हो सकती है, इन तमाम ट्रंप कार्ड का इस्तेमाल नीतीश कुमार बहुत जल्द कर सकते हैं, आपको बताते हैं कि कौन है वो ट्रंप कार्ड और क्यों नीतीश कुमार ने इन्हें हमले के लिये चुना है।
ऐश्वर्या राय
लालू प्रसाद यादव की बहू और पूर्व मंत्री चंद्रिका राय की बेटी ऐश्वर्या इस चुनाव में बड़ा ट्रंप कार्ड हो सकती है, दरअसल लालू परिवार से उनका संबंध इस कदर बिगड़ चुका है, कि मामला कोर्ट में विचाराधीन है, चंद्रिका राय ने लालू का साथ छोड़कर नीतीश का दामन थाम लिया है, दरोगा राय का परिवार यादवों में प्रतिष्ठित परिवार माना जाता है, खासकर सारण प्रमंडल में यादवों में उनके परिवार की अच्छी पकड़ मानी जाती है, यादवों में तेज प्रताप के बहाने ऐश्वर्या की नाराजगी असर दिखा सकती है, जिस तरह से सीएम नीतीश कुमार ने वर्चुअल रैली में ऐश्वर्या के साथ हुए घटना का जिक्र किया, उससे साफ हो गया है कि लालू की बहू उनकी पार्टी के लिये ही परेशानी बन सकती है, चर्चा ये भी है कि ऐश्वर्या तेज प्रताप के खिलाफ चुनाव लड़ सकती हैं, ऐश्वर्या को यादव बाहुल्य इलाके में प्रचार के लिये उतारा जा सकता है।
जय वर्धन यादव
कभी बिहार केसरी कहे जाने वाले रामलखन सिंह यादव को बिहार का सबसे बड़ा यादव नेता माना जाता था, ना सिर्फ राजनीति में बल्कि शिक्षा के क्षेत्र में भी रामलखन यादव ने काफी काम किये थे, कई कॉलेज भी खुलवाये, ऐसे परिवार के सदस्य हैं जयवर्धन, वो राम लखन सिंह यादव के पोते हैं, राजद विधायक होते हुए भी लालू परिवार पर कई आरोप लगाये हैं, अब वो नीतीश कुमार के साथ हो लिये, पालीगंज से विधायक जयवर्धन युवा हैं, यादव युवाओं में उनकी अच्छी पैठ मानी जाती है।
फराज फातमी
मिथिलांचल के सबसे बड़े मुस्लिम चेहरे माने जाने वाले अली अशरफ फातमी के बेटे फराज फातमी अपने पिता के साथ नीतीश कुमार का दामन थाम चुके हैं। अली अशरफ फातमी ने राजद के साथ लंबा समय गुजारा, लेकिन जब राजद ने उन्हें दरकिनार कर दिया, तो राजद का साथ छोड़ नीतीश के साथ हो लिये, अब ताल ठोक के लालू यादव को करारा जवाब देने की बात कह रहे हैं, बाप और बेटे की जुगलबंदी मिथिलांचल में राजद को परेशान कर सकती है, पिता बुजुर्ग मुस्लिम वोटरों पर तो बेटा युवा मुस्लिम वोटरों को लुभाने की कोशिश कर सकते हैं, जदयू इन्हीं के सहारे राजद के मुस्लिम यादव समीकरण को झटका देने की तैयारी में है।
क्या पड़ेगा असर
नीतीश के ट्रंप कार्ड पर राजद विधायक और नेता विजय प्रकाश कहते हैं, कि कोई भी ट्रंप कार्ड नीतीश कुमार उतार लें, लेकिन चुनाव में लालू के तमाम समीकरण उनका खेल बिगाड़ देंगे, उन्होने कहा कि जो लोग भी राजद छोड़कर गये हैं, वो मौकापरस्त लोग हैं, जनता सब देख रही हैं, वहीं चंद्रिका राय कहते हैं, लालू यादव ने जिस तरह से लोगों को ठगा है, इस बार जनता पाई-पाई का हिसाब लेगी।