भारत की नई रणनीति से दक्षिण एशिया में ध्वस्त हो जाएगी चीन की बादशाहत!

विदेश मंत्री एस जयशंकर ने चीन के साथ चल रहे तनाव के बीच बताया कि भारत-जापान ने हाल ही में सैन्य सहयोग को लेकर एक समझौते पर दस्तखत किये हैं।

New Delhi, Sep 19 : दक्षिण एशिया में चीन के बढते प्रभाव को देखते हुए भारत तथा जापान ने पड़ोसी देशों के साथ मिलकर काम करने की योजना पर विचार करना शुरु कर दिया है, भारत अपने पड़ोसी देश श्रीलंका, बांग्लादेश और म्यामांर जैसे देशों के साथ मिलकर चीन की बादशाहत को खत्म करना चाहता है, भारत के इस कदम को चीन की विस्तारवादी नीति के खिलाफ उठाया गया कदम माना जा रहा है, इस के साथ ही चीन के खिलाफ तैयार इस रणनीति को भारत-जापान की मजबूत होती गठजोड़ का प्रतीक माना जा रहा है, इस पूरे मामले में विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा कि दोनों देशों ने तीसरे देशों में काम करने के व्यावहारिक पहलुओं पर काम करना शुरु कर दिया है।

Advertisement

समझौते पर दस्तखत
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने चीन के साथ चल रहे तनाव के बीच बताया कि भारत-जापान ने हाल ही में सैन्य सहयोग को लेकर एक समझौते पर दस्तखत किये हैं, हिंद महासागर और प्रशांत महासागर में अभी जिस तरह के हालात है, वो दोनों देशों की सोच को दर्शाता है। दोनों देशों ने मिलकर जिस तरह के समझौते की बात की है, उससे निःसंदेह एशिया में सुरक्षा तथा स्थिरता को और मजबूती मिलेगी, इंडस्ट्री चैंबर फिक्की की ओर से आयोजित एक कांफ्रेंस में बोलते हुए विदेश मंत्री ने कहा कि अब समय आ गया है, कि एशिया के बड़े तथा महत्वपूर्ण देशों को एकजुट हो जाना चाहिये।

Advertisement

कोई फायदा नहीं
विदेश मंत्री ने कहा कि एक-दूसरे के प्रति सशंकित रहकर किसी भी देश को कोई फायदा नहीं होने वाला है, विदेश मंत्री का ये बयान ऐसे समय में आया है, जब भारत तथा चीन के बीच तनाव चरम पर है, ऐसे में भारत की पड़ोसी देशों के साथ की जा रही किलेबंदी को चीन की ताकत खत्म करने की ओर उठाया गया कदम बताया जा रहा है, उन्होने कहा कि अगर वैश्विक राजनीति में एशिया को और उन्नत स्थान दिलाना है, तो एशिया के सभी बड़े देशों को एक साथ आना होगा।

Advertisement

तीसरे देशों के साथ मिलकर काम करेंगे भारत-जापान
जापान के साथ भारत के मजबूत होते रिश्तों के बारे में बोलते हुए विदेश मंत्री ने कहा कि दोनों ही देश अब तीसरे देशों के साथ मिलकर काम करने की सोच रहे हैं, उन्होने कहा कि हमने अपने इस कोशिश को आगे बढाना शुरु कर दिया है, लेकिन अभी ये शुरुआती चरण में है, उन्होने बताया कि श्रीलंका के साथ मिलकर हमने काम भी करना शुरु कर दिया है, दोनों देश इस बात का भी पता लगा रहे हैं कि बांग्लादेश और म्यांमार के बीच समन्वय तथा सहयोग कैसे बढाया जा सकता है, उन्होने कहा कि इससे हम पड़ोसी देशों से अपने रिश्तों को अलग मुकाम पर ले जा सकेंगे।

Tags :