BKU में बगावत की इनसाइड स्टोरी- क्या राकेश टिकैत का काउंटडाउन 10 मार्च से शुरू हो गया था?
भारतीय किसान यूनियन दो फाड़ हो गई है, राकेश टिकैत की राजनैतिक मंशा से नाराज पार्टी को छोड़कर भारतीय किसान यूनियन अराजनैतिक संगठन का गठन कर लिया गया है ।
New Delhi, May 16: चौधरी महेन्द्र सिंह टिकैत की 11वीं पुण्य तिथि पर रविवार को लखनऊ में आयोजित हुई भारतीय किसान यूनियन की बैठक में टिकैत बंधुओं को बड़ा झटका लगा है । राकेश टिकैत का यूपी चुनाव में बीजेपी और योगी सरकार के खिलाफ खुलकर मोर्चा खोलने का दांव ही उल्टा पड़ गया । इतना ही नहीं भारतीय किसान यूनियन में जैसे दो फाड़ हो गए हैं, राजेंद्र सिंह मलिक और राजेश सिंह चौहान ने मिलकर अब भारतीय किसान यूनियन अराजनैतिक संगठन का गठन कर लिया है ।
किसान नेता चौधरी महेंद्र सिंह टिकैत की पुण्यतिथि पर ‘टिकैत बंधुओं’ के खिलाफ भारतीय किसान यूनियन में बगावत हो ही गई । किसान यूनियन के दो फाड़ करते हुए, गठवाला खाप के चौधरी राजेंद्र सिंह मलिक के संरक्षण और राजेश सिंह चौहान के नेतृत्व में भारतीय किसान यूनियन से अलग भारतीय किसान यूनियन (अराजनैतिक) नाम से नया संगठन बनाया गया है । अब किसान आंदोलन का अहम चेहरा रहे राकेश टिकैत और नरेश टिकैत किसान यूनियन में अलग-थलग पड़ गए हैं । दोनों की राजनीतिक महत्वाकांक्षा यूनियन के सदस्यों के समझ से परे थी, इसी वजह से ये बड़ा फैसला लिया गया । टिकैत भाईयों के लिए ये किसी बड़े झटके से कम नहीं ।
बगावत की इनसाइड स्टोरी
जानकारों के मुताबिक भारतीय किसान यूनियन से टिकैत बंधुओं को किनारे करने की पटकथा तो 10 मार्च को यूपी चुनाव नतीजे आने के साथ ही लिख दी गई थी । वो सभी चेहरे जो बीकेयू से बगावत कर अपना अलग भारतीय किसान यूनियन अराजनैतिक संगठन बना चुके हैं, इन सभी की बीजेपी से नजदीकियां भी जगजाहिर हैं । गठवाला खाप के चौधरी राजेंद्र सिंह मलिक जिन्हें संगठन का संरक्षक बनाया गया है, वो बीजेपी और योगी सरकार के हर कदम पर साथ खड़े नजर आते हैं । वहीं धर्मेंद्र मलिक योगी सरकार में कृषि समृद्ध आयोग के सदस्य रह चुके हैं । ऐसे में किसान यूनियन से राकेश टिकैत को दरकिनार करना पहले से ही तय माना जा रहा था।
नए संगठन का गठन
नए संगठन का गठन टिकैत बंधुओं को बड़ा झटका है । वहीं, राजेंद्र सिंह मलिक की अध्यक्षता और किसान नेता अनिल तालान के संचालन के बीच रविवार को लखनऊ में भारतीय किसान यूनियन अराजनैतिक का गठन किया गया । इसका अध्यक्ष राजेश सिंह चौहान को बनाया गया है । राष्ट्रीय उपाध्यक्ष मांगेराम त्यागी, राष्ट्रीय प्रवक्ता धर्मेंद्र मलिक, युवा प्रदेश अध्यक्ष चौधरी दिगंबर और प्रदेश अध्यक्ष हरिनाम सिंह वर्मा बनाए गए हैं । ये सभी सदस्य मूल भारतीय किसान यूनियन में किसी न किसी अहम पद पर थे, जिन्होंने टिकैट बंधुओं के खिलाफ बागी रुख अपनाया ।
‘टिकैट बंधु राजनीति से प्रेरित‘
अध्यक्ष बने राजेश चौहान ने स्पष्ट कहा कि भारतीय किसान यूनियन अपने किसानों के मूल मुद्दों से भटक गई और अब राजनीति करने लगी है। राकेश टिकैत और नरेश टिकैत राजनीति से प्रेरित हैं, इसीलिए भारतीय किसान यूनियन अराजनैतिक बनाने की आवश्यकता महसूस हुई। हम किसी सियासी दल से नहीं जुड़ेंगे और यह संगठन केवल किसान हित में काम करेगा. हम महेंद्र सिंह टिकैत के मार्ग पर चलने वाले हैं, हम अपने सिद्धांतों के विपरीत नहीं जाएंगे।
भारतीय किसान यूनियन में हुए दो फाड़।
BKU अब दो गुटों में बंट गया है, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष राजेश सिंह चौहान के नेतृत्व में नई BKU(अराजनैतिक) बनाई गई है, खुद राजेश सिंह चौहान इसके राष्ट्रीय अध्यक्ष बने हैं।#BKU #KISAN @BKU_KisanUnion @FarmersUP_ @RakeshTikaitBKU pic.twitter.com/SxoN1ZsxrP— TV9 Uttar Pradesh (@TV9UttarPradesh) May 15, 2022