सादा जीवन, शांत स्वभाव, किराए पर रहने वाला दंपति निकला 21 हजार करोड़ का हेरोइन तस्कर
सुधाकर और वैशाली के पड़ोसियों को कभी शक भी नहीं हुआ कि वो दिनों इतने बड़े ड्रग तस्कर हो सकते हैं । दंपति के घर से पुलिस को कुछ भी नहीं मिला है ।
New Delhi, Oct 02: पिछले दिनों गुजरात के कच्छ जिले का मुंद्रा बंदरगाह चर्चा में आ गया, ययहां करीब 3000 किलग्राम की हेरोइन ज़ब्ती ने हर किसी को हैरान कर दिया । अंतरराष्ट्रीय बाजार में इसकी कीमत करीब 21,000 करोड़ रुपये आंकी गई है और ये भारत में अब तक पकड़ी गई हेरोइन की सबसे बड़ी खेप थी । मामले में चेन्नई से एक दंपती को गिरफ्तार किया गया है, लेकिन इन दोनों का रहन सहन देखकर किसी को भी शक नहीं होगा कि ये ड्रग तस्कर है ।
पड़ोसियों को कभी नहीं लगी भनक
दंपति चेन्नई के कोलापक्कम में वीओसी स्ट्रीट पर गोवर्धन गिरी अपार्टमेंट में मिडिल क्लास फैमली की तरह रहते थे । इनकी लाइफस्टाइल जानकर किसी को भी इनकी करतूतों पर यकीन ना हो । अंग्रेजी अखबार इंडियन एक्सप्रेस ने इसी अपार्टमेंट में रहने वाली एक महिला से बातचीत की, जिसमें पता लगा कि उन्हें कभी शक ही नहीं हुआ कि ये दोनों ऐसा कुछ भी कर सकते हैं । 17 सिंतबर की सुबह तक सब कुछ सामान्य था लेकिन सुबह उनके घर जब ढेर सारे लोग पहुंचे तब पता लगा कि मामला हेरोइन तस्करी का है ।
6 साल से रह रहा है दंपत्ति
जिन कंटेनरों से हेरोइन जब्त किए गए थे वो आशी ट्रेडिंग कंपनी के नाम से रजिस्टर्ड थे । ये कंपनी इसी दंपति के नाम पर रजिस्टर है । ये दोनों पिछले 6 साल से चेन्नई अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के पास कोलापक्कम में किराए एक प्लैट में रहते हैं । दोनों के दो बच्चे भी है, एक की उम्र 11 साल और दूसरे की 6 साल है । बच्चे अपने चाचा के पास रह रहे हैं ।
सादगी,शांत स्वभाव, धार्मिक परिवार
पड़ासियों ने दोनों के बारे में बताया कि 17 सितंबर से पहले तक इस दंपति के बारे कोई कभी गलत सोच भी नहीं सकता था । दोनों सादगी से रहते थे, धार्मिक थे । उनके घर कोई संदिग्ध मेहमान भी नहीं आया । सुधाकर की मां के अलावा उनके पास कभी कोई रुकने के लिए नहीं आया । मूल रूप से आंध प्रदेश के इस दंपति के लंबे समय तक चेन्नई में रहने के कारण वो धाराप्रवाह तमिल बोलते थे । फिलहाल दंपति जांच के घेरे में है ।